Wednesday, April 06, 2011

एक शायरी दोस्तों के नाम............

ए खुदा इस महफ़िल को कुछ यु ही गुलजार रखना...

न अता कर सको रौशन दुपहरी ,तो समां से रौसन ये रात रखना!!!!!!!

अभी देखी है दुनिया ने मेरे कदमो की हलचल................

वक्त आने दो मेरा ख्याल -ए-अजमात रखना !!!!!!!!!!!!!!!!!!!!!

Tuesday, January 11, 2011

काफ़िर



एक दोस्त ने काफ़िर शब्द पर लिखा है उनका कुछ जवाब है

तखल्लुस में क्या रखा है ??????????????
कोई तुम्हे काफ़िर कहे या कहे शैतान
जब कोई परिंदा मोह्हबत के पर संग उड़ने लगे
जन लेना काफ़िर कहता है उसे सारा जहाँ .....................